ताल - त्रिताल (मध्यलय)
स्थाई :-
पिया सों नेहा नयो तुम बरसे
अबी ही इन गरजे रे ।
अंतरा :-
अब धब दीहे आवन चाहत
कोयल मोरे संदेस सुनावत
घर आए लदुमन तब पिया मोरे
बूंदन बरसे ।।
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